रायपुर में संविदा कर्मचारियों का बवाल:पुलिस ने रोका तो अफसरों से भिड़े, ज्ञापन फाड़कर कहा- अब छत्तीसगढ़ की जेलें भर देंगे

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कर्मचारियों और पुलिसकर्मियों के बीच धक्का-मुक्की हुई। सभी विभाग के 45000 कर्मचारी 3 जुलाई से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर हैं।
सोमवार को रायपुर में प्रदेश भर के संविदा कर्मचारियों ने नवा रायपुर स्थित तूता धरना स्थल पर नियमितीकरण की मांग करते हुए प्रदर्शन किया। कर्मचारी संगठन के पदाधिकारियों ने कहा कि आने वाले दिनों में जेल भरो आंदोलन करेंगे और पूरे प्रदेश में कर्मचारियों का यह आंदोलन और बढ़ेगा।

एक बड़ी सभा लेने के बाद प्रदर्शनकारियों ने रैली निकाली। कर्मचारी शहर की ओर बढ़े तो बीच रास्ते में ही पुलिस ने इन्हें रोक दिया। कर्मचारियों ने प्रशासनिक अफसरों को बुलाने के लिए कहा, लेकिन कोई भी अधिकारी नहीं पहुंचा। जिसके बाद कर्मचारियों ने आक्रोशित होकर ज्ञापन फाड़ते हुए कहा कि, अब छत्तीसगढ़ की जेल भर देंगे। इस बीच कर्मचारियों और पुलिसकर्मियों के बीच धक्का-मुक्की हुई।

विरोध प्रदर्शन में दिव्यांग कर्मचारी भी पहुंचा।
बड़ी तादाद में उमड़े संविदा कर्मियों को रोकने के लिए फोर्स बुलाई गई। इसके बाद कर्मचारी नवा रायपुर की सड़क पर जाम करके धरना देने लगे। कर्मचारियों की मांग है कि जो भी जिस विभाग में काम कर रहा है उन्हें नियमित किया जाए।

कर्मचारियों ने गाया शिव तांडव।
प्रदर्शन में गाया शिव तांडव
कर्मचारियों ने सावन के पहले सोमवार होने की वजह से अपने प्रदर्शन में धरना स्थल पर पहुंचकर शिव तांडव गाया। कर्मचारियों ने सरकार से नियमितीकरण का वादा पूरा करने की अपील की है। मंच पर राजगीत भी गाया गया। संगठन के प्रांताध्यक्ष कौशलेश तिवारी ने कहा कि यदि प्रशासन हमें अनदेखा करता है तो 17 जुलाई से जेल भरो आंदोलन करने को हम मजबूर होंगे।

आधी रोटी आधा पेट वाले स्लोगन के साथ विरोध।
कमेटी बनी, लेकिन हुआ कुछ नहीं
प्रदर्शनकारियों ने कहा कि 8 मार्च 2019 को गठित समिति को जिम्मा दिया गया था कर्मचारियों पर फैसला लेने का। कमेटी ने इतने दिनो में क्या निर्णय लिया यह नहीं पता। कर्मचारियों ने कहा कि पिछले दिनों हमने 90 विधायक और 33 जिला कलेक्टर को ज्ञापन दिए। इसके बाद भी छत्तीसगढ़ सरकार ने कुछ नहीं सोचा न ही संज्ञान लिया।

ये मांगें पूरी करवाना चाहते हैं कर्मचारी
महासंघ के प्रांत अध्यक्ष कौशलेश तिवारी ने बताया कि जन घोषणा पत्र में किए गए वादे अनुरूप संविदा नियमितिकरण की मांग को लेकर स्वास्थ्य विभाग सहित पंचायत, कृषि, शिक्षा, महिला बाल विकास और अन्य विभाग के संविदा कर्मचारी शामिल है।

सभी विभाग के 45000 संविदा कर्मचारी 3 जुलाई से निरंतर अनिश्चितकालीन हड़ताल पर बैठे हैं। मीडिया प्रभारी एवं प्रवक्ता सूरज सिंह ठाकुर ने कहा कि राजधानी में जुटी कर्मचारियों की यह भीड़ आने वाले दिनों में राजनीतिक तौर पर ये भी तय करेगी कि चुनावों में किस राजनीतिक दल का समर्थन या विरोध करना है।

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